कथा-कुसुम
कहानी- तस्दीक
यदि तीन जड़-सरिताओं का पावन मिलन संगम कहलाता है …
परिचय :
जन्मतिथि- 8 सितम्बर, 1955
जन्मस्थान- जोधपुर (राजस्थान)
प्रकाशन- 'अगोचर', 'सांप-सीढ़ी', 'आधार', 'पीढ़ियाँ', 'पहली बरसात', 'माटी के दीये' व 'नेति-नेति' सहित सात कहानी संग्रह प्रकाशित, हाल ही में राजस्थानी ग्रंथागार,जोधपुर से उनकी प्रतिनिधि कहानियों का संकलन 'हरिप्रकाश राठी की प्रतिनिधि कहानिया
परिचय :
जन्मतिथि- 8 सितम्बर, 1955
जन्मस्थान- जोधपुर (राजस्थान)
प्रकाशन- 'अगोचर', 'सांप-सीढ़ी', 'आधार', 'पीढ़ियाँ', 'पहली बरसात', 'माटी के दीये' व 'नेति-नेति' सहित सात कहानी संग्रह प्रकाशित, हाल ही में राजस्थानी ग्रंथागार,जोधपुर से उनकी प्रतिनिधि कहानियों का संकलन 'हरिप्रकाश राठी की प्रतिनिधि कहानियां' छपकर आया है, इनकी कुछ कहानियों का अंग्रेजी भाषा में भी अनुवाद हुआ है, जिसे 'ऑन द विंग्स ऑफ़ कुरजां' नाम दिया है
सम्मान- विद्यावाचस्पति (विक्रमशिला विद्यापीठ, इशीपुर से), राजस्थान रत्न (जैमिनी अकादमी,पानीपत से) और विशिष्ट साहित्यकार (पंजाब कला अकादमी से) आदि सम्मानों से सम्मानित
कथा-कुसुम
कहानी- तस्दीक
यदि तीन जड़-सरिताओं का पावन मिलन संगम कहलाता है …
कथा-कुसुम
कहानी- कशमकश
सारे घर में उस डिब्बे को खोलते ही कोहराम …
कथा-कुसुम
कहानी- श्राप
(1)
अरावली पर्वतमाला के उत्तरी छोर की तलहटी में …
ख़ास मुलाक़ात
हम तो ढलती शाम के सूरज हैं, कोई भरी दुपहरी …