जून 2021 ग़ज़ल१. रंज़ो-ग़म हँसी मज़ाक के ही दरमियान सुन, बा-क़माल ज़िन्दगी तू ख़ुद … ग़ज़ल-गाँव दीपांशु सिंह 'शम्स'